उत्तर- साधनों को अपनाते हुए, लाभ कमाने एवं नुकसान को दूर रखने के लिए अल्लाह पर भरोसा करना, इसी का नाम तवक्कुल (भरोसा) है।
सर्वोच्च अल्लाह का कथन हैः (وَمَنْ يَتَوَكَّلْ عَلَى اللَّهِ فَهُوَ حَسْبُهُ) "तथा जो अल्लाह पर निर्भर रहेगा, तो वह उसके लिए काफ़ी होगा"। [सूरा अल-तलाक़: 3]
आयत में उल्लेखित (حَسْبُهُ) का अर्थ है कि वह काफ़ी है।